Bewfa
0
इक दिल तो था सीने मे अपने वो भी उस बेवफा को दे दिया
ईक जख्म प्यार का सिर अपने बिन सोचे समझे ले लिया.
अपने छोडे सपने छोडे काँच की तरह हर अरमान तोडे
ना जाने क्या हो गया था दिल कहीं खो गया था उसकी हंसी और उसकी बाते उसकी-मेरी वो मुलाकाते हर दिन रहे खयालो में रातों को रहे मुस्कराते लेकिन ईक दिन ऐसा आया दूर हो गया भ्रम का साया प्यार करके कुछ ना पाया जहाँ हम सोचते थे उन संग नाम अपना वहीं किसी और का नाम आया हम सोचे थे उन्के सिर्फ हम होंगे लेकिन क्या पता दो चार और होंगे बलि दी अपनी प्यार में अब ना बैठेंगे अब किसी भी बेवफा के ईंतजार में
Dedicated to
सपना रावत
Dedication Summary
Wo bewafa hai.